About
the Department
डॉ खूबचंद
बघेल शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय की स्थापना अविभाजित मध्यप्रदेश के दुर्ग
जिले में भिलाई स्टील प्लांट के लिए प्रसिद्ध भिलाई ग्राम में 15 अगस्त 1983 को हुआ था। महाविद्यालय की
स्थापना के साथ ही राजनीति विज्ञान विभाग भी एक स्नातक अध्यापन संकाय के रूप में
प्रारंभ हुआ था एवं सत्र 2006 में
स्नातकोत्तर विभाग के रूप में अद्यतन हुआ। महाविद्यालय एवं राजनीति विज्ञान विभाग
अपने स्थापना काल से 2016 तक पं.
रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय रायपुर से संबंद्ध था एवं वर्तमान में हेमचंद यादव
विश्वविद्यालय दुर्ग से संबंद्ध है।
Vision
विभाग प्रतिबद्ध है छात्रों को –
·
गुणवत्तापूर्ण शिक्षण, शोध. नवाचार के साथ संभव सर्वोत्तम उच्च शिक्षा
प्रदान करने।
·
समकालीन चुनौतियां एवं प्रतिस्पर्धा
का सामना करने हेतु दृष्टिकोण, ज्ञान, बुद्धिमता को प्रेरित करने।
·
नेतृत्व क्षमता के विकास के लिए
स्थानीय समस्याओं को जानने-समझने-अध्ययन-चिंतन द्वारा स्थानीय स्तर पर तार्किक समाधान हेतु प्रेरित करने।
·
जिम्मेदार नागरिक की भूमिका के
लिए प्रेरित करने।
·
सामाजिक सहभागितापूर्ण दायित्व
निर्वहन के लिए प्रेरित करने।
·
राष्ट्र निर्माण हेतु उच्च
नैतिक मूल्यों वाले सुदृढ़ चरित्र को स्थापित एवं अनुपालन हेतु प्रेरित करने।
Mission
·
अनुसूचित जाति बाहुल्य भिलाई-3
क्षेत्र के ग्रामीण परिवेश से आए वंचित तबके के छात्रों के समग्र विकास एवं उच्च
शिक्षा को बढ़ावा देने हेतु उन्हें संगठित कर प्रोत्साहित करना।
·
एक अच्छे प्रतिक्रिया तंत्र
द्वारा छात्र शिक्षकों के मध्य ज्ञान एवं विचारों के आदान-प्रदान के दोहरे प्रणाली
का विकास करना।
·
विद्यार्थियों को आधुनिक संचार
तकनीकों जैसे कंप्यूटर, इंटरनेट के व्यवसायिक उपयोग हेतु प्रोत्साहित करना।
·
पाठ्यक्रम को समय बद्ध पूर्ण कर आंतरिक मूल्यांकन द्वारा छात्रों
के कमजोरियों में सुधार हेतु प्रयास करना।
·
छात्रों में परोपकार एवं
सामुदायिक हित के रचनात्मक कार्यों को बढ़ावा देने वाले विचार आदतों को विकसित
करने एवं अपनाने के लिए प्रेरित करना।
·
छात्रों में उद्यमशीलता को प्रोत्साहित
करना।
Courses & Admission
वर्तमान में विभाग में स्नातक
एवं स्नातकोत्तर स्तर की कक्षाएं संचालित हैं। स्नातक हेतु 355 सीटें तथा स्नातकोत्तर हेतु 20 सीटें उपलब्ध है।
स्नातक प्रथम वर्ष एवं
स्नातकोत्तर प्रथम सेमेस्टर में गुणानुक्रम प्रवेश उच्च
शिक्षा विभाग छत्तीसगढ़ शासन के प्रवेश मार्गदर्शिकानुसार दिया जाता है। अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, दिव्यांगजन, छात्राओं, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों
के आश्रितों को छत्तीसगढ़ शासन के आरक्षण नियमानुसार प्रवेश दिया जाता है। स्नातक
द्वितीय एवं तृतीय वर्ष तथा स्नातकोत्तर द्वितीय तृतीय एवं चतुर्थ सेमेस्टर में
पूर्व कक्षाओं में अध्ययनरत छात्राओं को प्रवेश दिया जाता है। स्नातक द्वितीय एवं
तृतीय वर्ष में सीट रिक्त होने की स्थिति में गुणानुक्रम के आधार पर प्रवेश दिया जाता
है।
क्र.
|
पाठ्यक्रम
|
उपलब्ध सीट
|
प्रवेशित छात्र संख्या (2021-22)
|
1
|
बी.ए. भाग-I
|
355
|
193
|
2
|
बी.ए. भाग-II
|
355
|
154
|
3
|
बी.ए. भाग-III
|
355
|
183
|
4
|
एम.ए. प्रथम सेमेस्टर
|
20
|
20
|
5
|
एम.ए. तृतीय सेमेस्टर
|
20
|
16
|
Available Facilities
·
योग्य, उच्च शिक्षित एवं अनुभवी संकाय द्वारा अध्यापन एवं
मार्गदर्शन।
·
स्नातकोत्तर
कक्षा हेतु पृथक कक्ष।
·
विभागीय
पुस्तकालय में स्नातकोत्तर छात्रों हेतु 467 टेक्सबुक एवं 96 रेफरेंस बुक उपलब्ध।
·
ई-पुश्तकालय सुविधा उपलब्ध-
§
N-List
§
E-PG Pathshala
§
E-Gyankosh
·
ई-रिसोर्सेस सर्च के लिए छात्रो हेतु इंटरनेट एवं कंप्यूटर
सुविधा उपलब्ध।
Faculty
Profile
स.क्र..
|
नाम
|
पद
|
योग्यता
|
अनुभव
|
फोटो
|
1
|
डॉ. श्रीकान्त प्रधान
|
विभागाध्यक्ष एवं सहायक
प्राध्यापक
|
एम.ए.(राजनीतिविज्ञान एवं लोक प्रशासन),यु.जी.सी.नेट, सी.जी.टेट, पी-एच.डी.
|
स्नातक-16वर्ष
स्नातकोत्तर-01 वर्ष
|
|
2
|
डॉ.सी.एम. वर्मा
|
अतिथि सहायक प्राध्यापक
|
एम.ए.(राजनीतिविज्ञान एवं लोक प्रशासन),छ.ग.सेट,, पी-एच.डी.,बी.एड., पीजीडीसीए
|
स्नातक-12वर्ष
स्नातकोत्तर-12वर्ष
|
|
Teaching Method
A. Class Room Teaching- योग्य, उच्च शिक्षित, अनुभवी एवं समर्पित शिक्षक द्वारा पाठ्यक्रम के विभिन्न भागों का बिंदुवार
गुणवत्तापूर्ण सरलतम व्याख्यान श्यामपट्ट की सहायता से कक्षा में प्रस्तुत किया
जाता है।
B. Assignment- छात्रों को पुस्तक पाठन एवं उसके संदर्भ को समझने की क्षमता विकसित करने के
लिए इकाई वार सत्रीय कार्य प्रदान किए जाते हैं एवं उनका मूल्यांकन परिणाम आंतरिक
मूल्यांकन परिणाम में शामिल किया जाता है।
C.
Group Discussion- किसी विषय या समस्या पर छात्रों
के मध्य सहयोग पूर्वक विचार विमर्श करने, उनके बीच
अंतः प्रक्रिया का अवसर प्रदान करने एवं विचारों को प्रकट करने के लिए प्रेरित
करने के लिए समूह चर्चा शिक्षण विधि को अपनाया जाता है।
D. Presentation- अपने विचारों को तथ्यों के साथ
सबके समक्ष सटीक तरीके से प्रस्तुत करने की क्षमता के विकास के लिए प्रस्तुतीकरण
तकनीक को अपनाया जाता है। दिए गए समस्याओं, विषयों, शिर्षकों पर
प्रस्तुतीकरण तैयार कर कक्षा में प्रस्तुत करने के लिए छात्रों को प्रेरित किया
जाता है।
E.
Guest Lecture- अन्य महाविद्यालयों/विश्वविद्यालयों के प्राध्यापकों का व्याख्यान/कार्यशाला/अनौपचारिक चर्चा द्वारा
विषय के प्रति प्रतिबद्धता, भाव, समस्याओं, विभिन्न दृष्टिकोण से
छात्रों को ज्ञान एवं सीखने के दृष्टिकोण के विकसित करने हेतु अतिथि व्याख्यान
आयोजित किये जाते हैं।
SWOC
Analysis-
A. Strength-
1.
उच्च योग्यता
प्राप्त अनुभवी संकाय।
2.
ई-रिसोर्सेस सर्च के लिए छात्रो हेतु इंटरनेट एवं कंप्यूटर
सुविधा उपलब्ध।
3.
विभागीय
पुश्तकालय।
4.
ई-पुश्तकालय सुविधा उपलब्ध-
i.
N-List
ii.
E-PG Pathshala
iii.
E-Gyankosh
5.
प्रवेशित
विद्यार्थियों में छात्राओं के अधिक संख्या उच्च शिक्षा में उनकी बढ़ती भागीदारी की
महत्ता को साबित करती है।
6.
छात्रों की
अत्यधिक संख्या एवं मानव तथा सीमित के बाद भी नियमित कक्षा व्याख्यान, आंतरिक मूल्यांकन
कार्य, सत्रीय कार्य एवं उपस्थिति संधारण का नियमित तौर पर होना
विभाग की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
7.
नियमित उपस्थित
रहने वाली छात्रो द्वारा उन्हें सौंपें गए शैक्षणिक कार्य के प्रति
प्रतिबद्धता।
B.
Weakness-
1.
छात्रों की अधिक संख्या के कारण
अत्याधिक कार्यभार। स्नातक स्तर
पर प्रवेशित छात्रों की अत्यधिक संख्या के कारण इकाई मूल्यांकन, उपस्थिति
कार्य संधारण, एवं आंतरिक मूल्यांकन कार्य की संबंधी समस्याएं।
2.
अत्यधिक कार्यभार के कारण सहायक
शैक्षणिक गतिविधियां जैसे शैक्षणिक भ्रमण, सेमिनार, शोध कार्य
आदि नहीं हो पाना।
3.
प्रवेशित छात्रों की ग्रामीण
पृष्ठभूमि, सूचनाओं का अभाव भाषागत समस्या एवं व्यवसायिक प्रशिक्षण के अभाव में छात्रों
का व्यक्तित्व आधुनिक कार्य स्थलों की आवश्यकता के अनुरूप विकसित नहीं हो पाता एवं
उन्हें रोजगार प्राप्त करने में कठिनाई होती है।
4.
ग्रामीण अंचल एवं कमजोर आर्थिक
परिवेश से होने के कारण छात्र-छात्राओं के पास स्मार्टफोन नहीं होता। ऐसे में सूचनाएं प्रदान करने के ई- माध्यम अधिक प्रभावशाली नहीं होता।
C.
Opportunity-
1.
अनुसूचित जाति
बाहुल्य एवं ग्रामीण परिवेश क्षेत्र के कारण अध्ययन, शोध एवं विस्तार
गतिविधियों हेतु अधिक मौके।
2.
छात्रों में उच्च
शिक्षा के प्रति और अधिक जागरूकता के प्रसार की संभावना।
3.
स्नातकोत्तर
कक्षाओं में छात्रों के अध्ययन की
अत्यधिक संभावना।
4.
अधिकांश छात्र
छात्राएं ग्रामीण पृष्ठभूमि के शासकीय विद्यालयों से महाविद्यालय में प्रवेश लेते
हैं ।अतः उनको कंप्यूटर जैसे आधुनिक संचार यंत्रों के व्यवसायिक उपयोग का
प्रशिक्षण प्रदान कर उसका उपयोग उच्च शिक्षा हेतु करने की संभावना।
D.
Challenges-
1.
कमजोर आर्थिक
पृष्ठभूमि एवं पारिवारिक समस्याओं के कारण छात्राओं को बाहर जाकर उच्च अध्ययन हेतु
प्रेरित करने की चुनौती।
2.
कमजोर आर्थिक
पृष्ठभूमि के कारण सामाजिक, राजनीति, स्थानीय समस्याओं
पर शोध कार्य हेतु छात्रों को शोध अवधारणाओं, तकनीक, लाभ को समझा कर
शोध हेतु प्रेरित करने की चुनौती।
3.
आधुनिक संचार
तकनीक कंप्यूटर,ई-मेल, प्रेजेंटेशन आदि हेतु यंत्रों को उपलब्ध कराने एवं व्यवसायिक प्रशिक्षण प्रदान करने की चुनौती।
4.
छात्रों को
आधुनिक कार्यालयों की आवश्यकता अनुरूप छात्रों के व्यक्तित्व को विकसित करने हेतु
प्रशिक्षण प्रदान करने की चुनौती।
5.
उपरोक्त चुनौतियों
हेतु कंप्यूटर, फण्ड एवं अन्य
संसाधनों के व्यवस्था करने की चुनौती।
Five Year Plan-
·
राजनीति विज्ञान में शोध केंद्र प्रारम्भ करना।
·
विभागीय पुश्तकालय का ऑटोमेशन करना।
·
मूल्य वर्धित प्रमाणपत्र पाठ्यक्रम प्रारम्भ
करना।
·
कक्षा सेमिनार एवं राष्ट्रीय सेमिनार का आयोजन।
About
the Department
डॉ खूबचंद
बघेल शासकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय की स्थापना अविभाजित मध्यप्रदेश के दुर्ग
जिले में भिलाई स्टील प्लांट के लिए प्रसिद्ध भिलाई ग्राम में 15 अगस्त 1983 को हुआ था। महाविद्यालय की
स्थापना के साथ ही राजनीति विज्ञान विभाग भी एक स्नातक अध्यापन संकाय के रूप में
प्रारंभ हुआ था एवं सत्र 2006 में
स्नातकोत्तर विभाग के रूप में अद्यतन हुआ। महाविद्यालय एवं राजनीति विज्ञान विभाग
अपने स्थापना काल से 2016 तक पं.
रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय रायपुर से संबंद्ध था एवं वर्तमान में हेमचंद यादव
विश्वविद्यालय दुर्ग से संबंद्ध है।
Vision
विभाग प्रतिबद्ध है छात्रों को –
·
गुणवत्तापूर्ण शिक्षण, शोध. नवाचार के साथ संभव सर्वोत्तम उच्च शिक्षा
प्रदान करने।
·
समकालीन चुनौतियां एवं प्रतिस्पर्धा
का सामना करने हेतु दृष्टिकोण, ज्ञान, बुद्धिमता को प्रेरित करने।
·
नेतृत्व क्षमता के विकास के लिए
स्थानीय समस्याओं को जानने-समझने-अध्ययन-चिंतन द्वारा स्थानीय स्तर पर तार्किक समाधान हेतु प्रेरित करने।
·
जिम्मेदार नागरिक की भूमिका के
लिए प्रेरित करने।
·
सामाजिक सहभागितापूर्ण दायित्व
निर्वहन के लिए प्रेरित करने।
·
राष्ट्र निर्माण हेतु उच्च
नैतिक मूल्यों वाले सुदृढ़ चरित्र को स्थापित एवं अनुपालन हेतु प्रेरित करने।
Mission
·
अनुसूचित जाति बाहुल्य भिलाई-3
क्षेत्र के ग्रामीण परिवेश से आए वंचित तबके के छात्रों के समग्र विकास एवं उच्च
शिक्षा को बढ़ावा देने हेतु उन्हें संगठित कर प्रोत्साहित करना।
·
एक अच्छे प्रतिक्रिया तंत्र
द्वारा छात्र शिक्षकों के मध्य ज्ञान एवं विचारों के आदान-प्रदान के दोहरे प्रणाली
का विकास करना।
·
विद्यार्थियों को आधुनिक संचार
तकनीकों जैसे कंप्यूटर, इंटरनेट के व्यवसायिक उपयोग हेतु प्रोत्साहित करना।
·
पाठ्यक्रम को समय बद्ध पूर्ण कर आंतरिक मूल्यांकन द्वारा छात्रों
के कमजोरियों में सुधार हेतु प्रयास करना।
·
छात्रों में परोपकार एवं
सामुदायिक हित के रचनात्मक कार्यों को बढ़ावा देने वाले विचार आदतों को विकसित
करने एवं अपनाने के लिए प्रेरित करना।
·
छात्रों में उद्यमशीलता को प्रोत्साहित
करना।
Courses & Admission
वर्तमान में विभाग में स्नातक
एवं स्नातकोत्तर स्तर की कक्षाएं संचालित हैं। स्नातक हेतु 355 सीटें तथा स्नातकोत्तर हेतु 20 सीटें उपलब्ध है।
स्नातक प्रथम वर्ष एवं
स्नातकोत्तर प्रथम सेमेस्टर में गुणानुक्रम प्रवेश उच्च
शिक्षा विभाग छत्तीसगढ़ शासन के प्रवेश मार्गदर्शिकानुसार दिया जाता है। अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, दिव्यांगजन, छात्राओं, स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों
के आश्रितों को छत्तीसगढ़ शासन के आरक्षण नियमानुसार प्रवेश दिया जाता है। स्नातक
द्वितीय एवं तृतीय वर्ष तथा स्नातकोत्तर द्वितीय तृतीय एवं चतुर्थ सेमेस्टर में
पूर्व कक्षाओं में अध्ययनरत छात्राओं को प्रवेश दिया जाता है। स्नातक द्वितीय एवं
तृतीय वर्ष में सीट रिक्त होने की स्थिति में गुणानुक्रम के आधार पर प्रवेश दिया जाता
है।
क्र.
|
पाठ्यक्रम
|
उपलब्ध सीट
|
प्रवेशित छात्र संख्या (2021-22)
|
1
|
बी.ए. भाग-I
|
355
|
193
|
2
|
बी.ए. भाग-II
|
355
|
154
|
3
|
बी.ए. भाग-III
|
355
|
183
|
4
|
एम.ए. प्रथम सेमेस्टर
|
20
|
20
|
5
|
एम.ए. तृतीय सेमेस्टर
|
20
|
16
|
Available Facilities
·
योग्य, उच्च शिक्षित एवं अनुभवी संकाय द्वारा अध्यापन एवं
मार्गदर्शन।
·
स्नातकोत्तर
कक्षा हेतु पृथक कक्ष।
·
विभागीय
पुस्तकालय में स्नातकोत्तर छात्रों हेतु 467 टेक्सबुक एवं 96 रेफरेंस बुक उपलब्ध।
·
ई-पुश्तकालय सुविधा उपलब्ध-
§
N-List
§
E-PG Pathshala
§
E-Gyankosh
·
ई-रिसोर्सेस सर्च के लिए छात्रो हेतु इंटरनेट एवं कंप्यूटर
सुविधा उपलब्ध।
Faculty
Profile
स.क्र..
|
नाम
|
पद
|
योग्यता
|
अनुभव
|
फोटो
|
1
|
डॉ. श्रीकान्त प्रधान
|
विभागाध्यक्ष एवं सहायक
प्राध्यापक
|
एम.ए.(राजनीति विज्ञान एवं लोक प्रशासन), यु.जी.सी.नेट, सी.जी.टेट, पी-एच.डी.
|
स्नातक-16वर्ष
स्नातकोत्तर-01 वर्ष
|
|
2
|
डॉ.सी.एम. वर्मा
|
अतिथि सहायक प्राध्यापक
|
एम.ए.(राजनीति विज्ञान एवं लोक प्रशासन), छ.ग.सेट,, पी-एच.डी., बी.एड., पीजीडीसीए
|
स्नातक-12वर्ष
स्नातकोत्तर-12वर्ष
|
|
Departmental
Activities
महात्मा गाँधी एवं लाल बहादूर
शास्त्री जयंती पर सेमीनार, 5अक्टूबर, 2018
|
मतदाता जागरूकता (SVEEP) रंगोली
प्रतियोगिता, 13अक्टूबर, 2018
|
मतदाता जागरूकता (SVEEP) मतदाता मानव श्रृखला निर्माण , 13 अक्टूबर, 2018
|
|
संविधान दिवस, 26 नवम्बर, 2018
|
विश्व मानव अधिकार दिवस, 10 दिसम्बर, 2018
|
श्रीमद भगवत गीता जयंती, 19 दिसम्बर, 2018
|
‘गाँधी जी के विचारो कि वर्तमान में प्रासंगिकता’ पर सेमीनार, 21 अक्टूबर, 2019
|
संविधान दिवस, 26 नवम्बर, 2019
|
एक भारत श्रेष्ठ भारत में विभाग
की प्रदर्शनी, 23 जनवरी, 2020
|
डॉ.अम्बेडकर का जीवन एवं वर्तमान में उनकी प्रासंगिकता पर डॉ.सुनीता
मिश्रा, विभागाध्यक्ष राज.विज्ञान, शास. नवीन
महा. खुर्सीपार भिलाई का अतिथि व्याख्यान, 4 मार्च, 2020
|
‘भारतीय संविधान आधारित’ प्रश्नमंच, 26 नवम्बर,2021
|
‘भारतीय संविधान की एतिहासिक पृष्ठभूमि’ पर प्रो.के.के.अग्रवाल
का अतिथि व्याख्यान, 26 नवम्बर,2021
|
‘मानव अधिकार के हनन एवं रक्षा के उपाय’ पर निबंध प्रतियोगिता, 10 दिसम्बर, 2021
|
महिला अधिकारों कि रक्षा एवं जिला
विधिक सेवा प्राधिकरण पर प्रथम श्रेणी न्यायिक दंडाधिकारी श्री राहुल शर्मा जी
का अतिथि व्याख्यान, 10 दिसम्बर, 2021
|
स्नातकोत्तर छात्रों का प्रस्तुतिकरण
कार्यक्रम 30 मार्च, 2022
|
Teaching Method
A. Class Room Teaching- योग्य, उच्च शिक्षित, अनुभवी एवं समर्पित शिक्षक द्वारा पाठ्यक्रम के विभिन्न भागों का बिंदुवार
गुणवत्तापूर्ण सरलतम व्याख्यान श्यामपट्ट की सहायता से कक्षा में प्रस्तुत किया
जाता है।
B. Assignment- छात्रों को पुस्तक पाठन एवं उसके संदर्भ को समझने की क्षमता विकसित करने के
लिए इकाई वार सत्रीय कार्य प्रदान किए जाते हैं एवं उनका मूल्यांकन परिणाम आंतरिक
मूल्यांकन परिणाम में शामिल किया जाता है।
C.
Group Discussion- किसी विषय या समस्या पर छात्रों
के मध्य सहयोग पूर्वक विचार विमर्श करने, उनके बीच
अंतः प्रक्रिया का अवसर प्रदान करने एवं विचारों को प्रकट करने के लिए प्रेरित
करने के लिए समूह चर्चा शिक्षण विधि को अपनाया जाता है।
D. Presentation- अपने विचारों को तथ्यों के साथ
सबके समक्ष सटीक तरीके से प्रस्तुत करने की क्षमता के विकास के लिए प्रस्तुतीकरण
तकनीक को अपनाया जाता है। दिए गए समस्याओं, विषयों, शिर्षकों पर
प्रस्तुतीकरण तैयार कर कक्षा में प्रस्तुत करने के लिए छात्रों को प्रेरित किया
जाता है।
E.
Guest Lecture- अन्य महाविद्यालयों/विश्वविद्यालयों के प्राध्यापकों का व्याख्यान/कार्यशाला/अनौपचारिक चर्चा द्वारा
विषय के प्रति प्रतिबद्धता, भाव, समस्याओं, विभिन्न दृष्टिकोण से
छात्रों को ज्ञान एवं सीखने के दृष्टिकोण के विकसित करने हेतु अतिथि व्याख्यान
आयोजित किये जाते हैं।
SWOC
Analysis-
A. Strength-
1.
उच्च योग्यता
प्राप्त अनुभवी संकाय।
2.
ई-रिसोर्सेस सर्च के लिए छात्रो हेतु इंटरनेट एवं कंप्यूटर
सुविधा उपलब्ध।
3.
विभागीय
पुश्तकालय।
4.
ई-पुश्तकालय सुविधा उपलब्ध-
i.
N-List
ii.
E-PG Pathshala
iii.
E-Gyankosh
5.
प्रवेशित
विद्यार्थियों में छात्राओं के अधिक संख्या उच्च शिक्षा में उनकी बढ़ती भागीदारी की
महत्ता को साबित करती है।
6.
छात्रों की
अत्यधिक संख्या एवं मानव तथा सीमित के बाद भी नियमित कक्षा व्याख्यान, आंतरिक मूल्यांकन
कार्य, सत्रीय कार्य एवं उपस्थिति संधारण का नियमित तौर पर होना
विभाग की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
7.
नियमित उपस्थित
रहने वाली छात्रो द्वारा उन्हें सौंपें गए शैक्षणिक कार्य के प्रति
प्रतिबद्धता।
B.
Weakness-
1.
छात्रों की अधिक संख्या के कारण
अत्याधिक कार्यभार। स्नातक स्तर
पर प्रवेशित छात्रों की अत्यधिक संख्या के कारण इकाई मूल्यांकन, उपस्थिति
कार्य संधारण, एवं आंतरिक मूल्यांकन कार्य की संबंधी समस्याएं।
2.
अत्यधिक कार्यभार के कारण सहायक
शैक्षणिक गतिविधियां जैसे शैक्षणिक भ्रमण, सेमिनार, शोध कार्य
आदि नहीं हो पाना।
3.
प्रवेशित छात्रों की ग्रामीण
पृष्ठभूमि, सूचनाओं का अभाव भाषागत समस्या एवं व्यवसायिक प्रशिक्षण के अभाव में छात्रों
का व्यक्तित्व आधुनिक कार्य स्थलों की आवश्यकता के अनुरूप विकसित नहीं हो पाता एवं
उन्हें रोजगार प्राप्त करने में कठिनाई होती है।
4.
ग्रामीण अंचल एवं कमजोर आर्थिक
परिवेश से होने के कारण छात्र-छात्राओं के पास स्मार्टफोन नहीं होता। ऐसे में सूचनाएं प्रदान करने के ई- माध्यम अधिक प्रभावशाली नहीं होता।
C.
Opportunity-
1.
अनुसूचित जाति
बाहुल्य एवं ग्रामीण परिवेश क्षेत्र के कारण अध्ययन, शोध एवं विस्तार
गतिविधियों हेतु अधिक मौके।
2.
छात्रों में उच्च
शिक्षा के प्रति और अधिक जागरूकता के प्रसार की संभावना।
3.
स्नातकोत्तर
कक्षाओं में छात्रों के अध्ययन की
अत्यधिक संभावना।
4.
अधिकांश छात्र
छात्राएं ग्रामीण पृष्ठभूमि के शासकीय विद्यालयों से महाविद्यालय में प्रवेश लेते
हैं ।अतः उनको कंप्यूटर जैसे आधुनिक संचार यंत्रों के व्यवसायिक उपयोग का
प्रशिक्षण प्रदान कर उसका उपयोग उच्च शिक्षा हेतु करने की संभावना।
D.
Challenges-
1.
कमजोर आर्थिक
पृष्ठभूमि एवं पारिवारिक समस्याओं के कारण छात्राओं को बाहर जाकर उच्च अध्ययन हेतु
प्रेरित करने की चुनौती।
2.
कमजोर आर्थिक
पृष्ठभूमि के कारण सामाजिक, राजनीति, स्थानीय समस्याओं
पर शोध कार्य हेतु छात्रों को शोध अवधारणाओं, तकनीक, लाभ को समझा कर
शोध हेतु प्रेरित करने की चुनौती।
3.
आधुनिक संचार
तकनीक कंप्यूटर,ई-मेल, प्रेजेंटेशन आदि हेतु यंत्रों को उपलब्ध कराने एवं व्यवसायिक प्रशिक्षण प्रदान करने की चुनौती।
4.
छात्रों को
आधुनिक कार्यालयों की आवश्यकता अनुरूप छात्रों के व्यक्तित्व को विकसित करने हेतु
प्रशिक्षण प्रदान करने की चुनौती।
5.
उपरोक्त चुनौतियों
हेतु कंप्यूटर, फण्ड एवं अन्य
संसाधनों के व्यवस्था करने की चुनौती।
Five Year Plan-
·
राजनीति विज्ञान में शोध केंद्र प्रारम्भ करना।
·
विभागीय पुश्तकालय का ऑटोमेशन करना।
·
मूल्य वर्धित प्रमाणपत्र पाठ्यक्रम प्रारम्भ
करना।
·
कक्षा सेमिनार एवं राष्ट्रीय सेमिनार का आयोजन।